आईपीओ यानी इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग एक ऐसा प्रोसेस है जिसमें एक कंपनी या संगठन अपने प्राइवेट स्टेटस से पब्लिक बनती है। इस प्रक्रिया में कंपनी खुद को स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्टेड कराती है और अपनी पूंजी बढ़ाने के लिए शेयर बेचती है। आईपीओ में भाग लेकर निवेशक कंपनी के शेयर खरीद सकते हैं, जो स्टॉक एक्सचेंज पर ट्रेड करने से पहले उपलब्ध होते हैं। इसके लिए निवेशकों को सीधे कंपनी से शेयर खरीदने होते हैं। आप अपने नेट बैंकिंग अकाउंट के जरिए आईपीओ में आवेदन कर सकते हैं।
यदि आप भी आईपीओ में निवेश करना चाहते हैं, तो आपको इसके बारे में पूरी जानकारी प्राप्त करनी चाहिए। इस ब्लॉग में हम आपको आईपीओ में निवेश करने की पूरी प्रक्रिया के बारे में बताएंगे।
आईपीओ में निवेश के लिए जरूरी क्राइटेरिया
आईपीओ में निवेश करने के लिए कुछ जरूरी शर्तें होती हैं:
- पैन कार्ड: आपके पास एक वैध पैन कार्ड होना चाहिए।
- डीमेट अकाउंट: आईपीओ में आवेदन करते समय आपको अपना डीमेट अकाउंट विवरण सबमिट करना होता है।
- ट्रेडिंग अकाउंट: यदि आप शेयरों को बेचने का विचार कर रहे हैं, तो आपके पास एक ट्रेडिंग अकाउंट होना चाहिए।
इन शर्तों को पूरा करने के बाद ही आप आईपीओ में निवेश कर सकते हैं।
आईपीओ में निवेश करने के लिए जरूरी स्टेप्स
1. रिसर्च करें
आईपीओ में निवेश करने से पहले आपको उस कंपनी के बारे में रिसर्च करनी चाहिए। निवेशक कई बार जल्दी मुनाफा कमाने की कोशिश में कंपनी की पूरी जानकारी के बिना निवेश कर लेते हैं, जिससे उन्हें नुकसान उठाना पड़ता है। कंपनी के बिजनेस प्लान और पब्लिक होने का कारण जानने के लिए आपको कंपनी के प्रॉस्पेक्टस को स्टडी करना चाहिए। यह प्रोस्पेक्टस आपको सेबी की वेबसाइट पर मिल जाएगा।
आपको हाइप से बचते हुए, अपनी रिसर्च के आधार पर ही निवेश का निर्णय लेना चाहिए।
2. फंड्स अरेंज करें
एक बार जब आप उपयुक्त आईपीओ चुन लें, तो आपको इसके लिए फंड्स अरेंज करने होंगे। आपको कंपनी के लॉट साइज के अनुसार शेयर्स खरीदने होंगे। उदाहरण के लिए, अगर कंपनी ने लॉट साइज 105 तय किया है, तो आपको एक बार में 105 शेयर्स खरीदने होंगे। यदि आप अधिक शेयर्स खरीदना चाहते हैं, तो आपको अतिरिक्त लॉट्स खरीदने होंगे।
आपके पास पर्याप्त फंड्स होने चाहिए। अगर आपके पास पर्याप्त पैसे नहीं हैं, तो आप लोन सुविधा का उपयोग कर सकते हैं। कई बैंक और स्टॉक ब्रोकर्स लोन सुविधा प्रदान करते हैं।
3. डीमेट अकाउंट ओपन करें
आईपीओ में आवेदन करने के लिए आपके पास डीमेट अकाउंट होना अनिवार्य है। डीमेट अकाउंट के जरिए आप सिक्योरिटीज को ऑनलाइन खरीद और बेच सकते हैं। डीमेट अकाउंट खोलने के लिए आपको आधार कार्ड, पैन कार्ड, और अन्य पहचान पत्र की जरूरत होती है। आप कुछ मिनटों में डीमेट अकाउंट खोल सकते हैं और इसके लिए स्टॉक ब्रोकर्स की मदद ले सकते हैं।
4. एप्लीकेशन प्रोसेस
आईपीओ में आवेदन करने के लिए आपको एप्लीकेशन सपोर्टेड बाय ब्लॉक्ड अमाउंट (एसबीए) की सुविधा का इस्तेमाल करना होता है। एसबीए यह सुनिश्चित करता है कि आपके बैंक अकाउंट से आईपीओ के लिए आवेदन राशि तभी डेबिट की जाएगी जब आपके आवेदन को अलॉटमेंट के लिए सिलेक्ट किया जाएगा। अगर आपको आईपीओ नहीं मिलता या वह विड्रॉ हो जाता है, तो आपके बैंक अकाउंट में रिफंड आ जाता है।
5. बिडिंग प्रोसेस
बिडिंग प्रोसेस में निवेशकों को कंपनी द्वारा निर्धारित प्राइस रेंज में से एक प्राइस पर बिड लगानी होती है। प्राइस और लॉट साइज को सेलेक्ट करने के बाद बैंक्स आपके अकाउंट से संबंधित अमाउंट को ब्लॉक कर देते हैं, जब तक कि अलॉटमेंट प्रक्रिया पूरी नहीं हो जाती।
6. शेयर्स अलॉटमेंट
जब कंपनी को पब्लिक से सब्सक्रिप्शन मिल जाते हैं, तो वह शेयर्स अलॉट करती है। यदि आपको पूरी अलॉटमेंट मिल जाती है, तो आपको आईपीओ बंद होने से पहले छह कार्य दिवसों में कंफर्मेशन नोट मिलेगा। इसके बाद, आपको कंपनी के शेयर स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्ट होने का इंतजार करना होगा। इसके बाद आप शेयरों को खरीद और बेच सकते हैं।
आईपीओ से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण बातें
- फुल्ली सब्सक्राइब: जब आईपीओ के शेयर्स पूरी तरह से सब्सक्राइब हो जाते हैं, तो इसे फुल्ली सब्सक्राइब कहा जाता है।
- अंडर सब्सक्राइब: यदि आईपीओ के शेयर्स की संख्या कम हो, तो इसे अंडर सब्सक्राइब कहा जाता है।
- ओवर सब्सक्राइब: यदि आईपीओ के शेयर्स की डिमांड अधिक हो, तो इसे ओवर सब्सक्राइब कहा जाता है।
आईपीओ में निवेश करते समय ध्यान रखने योग्य टिप्स
- कंपनी की लंबी अवधि की प्रदर्शन चेक करें: यदि कंपनी लंबे समय से अच्छे तरीके से ग्रो कर रही है, तो यह एक अच्छा संकेत है। लेकिन अगर कंपनी का प्रदर्शन कमजोर है, तो आपको इस आईपीओ को स्किप करना चाहिए।
- कंपनी के प्रॉस्पेक्टस को ध्यान से पढ़ें, ताकि आपको यह जानकारी मिल सके कि कंपनी अपना पूंजी रेज करने के लिए किस प्रकार का प्लान बना रही है।
- कंपनी का रिकॉर्ड चेक करें: यह सुनिश्चित करें कि कंपनी का कोई पेमेंट डिफॉल्ट रिकॉर्ड नहीं है।
- एप्लीकेशन फॉर्म ध्यान से भरें: अगर फॉर्म अधूरा हो, तो वह रिजेक्ट हो सकता है।
- रिफंड के समय, सुनिश्चित करें कि आप सभी आवश्यक विवरण सही से भरें, ताकि रिफंड प्रक्रिया में कोई समस्या न हो।
निष्कर्ष
इस प्रकार, आप आईपीओ में निवेश कर सकते हैं और इससे अच्छा मुनाफा भी कमा सकते हैं। यदि आपको यह जानकारी अच्छी लगी हो, तो कृपया इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर करें और कमेंट बॉक्स में अपने विचार जरूर बताएं।